गुरुवार, 20 मई 2010

अर्जुन मुंडा को लेकर झामुमो के १८ में ११ विधायक बागी

भाजपा की अगुआई में सरकार बनाने को लेकर झामुमो में काफी बवाल मचा है वही, पार्टी का एक बड़ा धड़ा भावी सरकार के तय मुखिया सांसद अर्जुन मुंडा को स्वीकारने के पक्ष में नहीं दिख रहा है. झामुमो पार्टी के वरिष्ठ विधायक साईंमन मरांडी के कहा कि वे भाजपा के अर्जुन मुंडा के नेतृत्व को किसी कीमत पर स्वीकार नहीं करेगें.उन्होंने अपने पक्ष में कुल १८ में ११ विधायकों के पूर्णतः एकजूट रहने की बात कही और बताया कि ये ११ विधायक पार्टी निर्देश के वावजूद समर्थन पत्र पर हस्ताक्षर नहीं करेंगे क्योंकि उनके नेता शिबू सोरेन ने भाजपा के दवाब में निर्णय लिया है. श्री मरांडी के अनुसार झामुमो के विक्षुब्ध में उनके अलावे विधयक टेकलाल महतो , नलिन सोरेन , लेबिंन हेब्रंम ,सीता सोरेन ,पौलुस सुरीन, विधुतवरण महतो , रामदास सोरेन, चंपई सोरेन , दीपक बिरुवा अकील अख्तर शामिल हैं. उल्लेखनीय है कि श्रीमति सीता सोरेन मुख्यमंत्री शिबू सोरेन की बड़ी बहू (स्व. दुर्गा सोरेन की पत्नि) है जिन्होंने अपने ससूर के लिए विधानसभा की जामा सीट खाली करने से साफ इनकार कर दिया था तथा श्री पौलुस सुरीन, जिन्होंने पहले तो अपने आका मुख्यमंत्री शिबू सोरेन के लिए तोरपा विधानसभा सीट छोड़ने के उतावले रहे लेकिन जब श्री शिबू सोरेन ने उस सीट से चुनाव लड़ने का मन बनाया तो अपना इस्तीफ़ा एन वक्त पर वापस ले लिया था.

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